
Railway signal
रतलाम. सिग्नल खराब होने की वजह से अब कोई रेल दुर्घटना रेल मंडल में नहीं होगी। इसके लिए नवाचार करते हुए रेलवे ने मंडल में नया काम किया है। इसके लिए मंडल को पांच सेक्शन मंे बांटा गया है। इसके अलावा प्रत्येक सेक्शन के लिए एक अधिकारी को मॉनीटरिंग के लिए ड्यूटी पर लगाया है। इसके बाद अब कोई सिग्नल किसी भी सेक्शन में खराब होगा तो सबसे पहले रेलवे के नियंत्रध कक्ष में इसके बारे में पता चलेगा।
रेल सेक्शन में लगे सिग्नल में अब कोई खराबी आई तो रेलवे कंट्रोल रूम में लगे डाटा लॉगर में इस बारे में जानकारी आ जाएगी। यह डाटा लॉगर स्वत: लाल हो जाएगा। समय पर सूचना मिलने पर इसको समय रहते दूरस्त कर दिया जाएगा। असल में मंडल में रियल टाइम मॉलीटरिंग एप्लीकेशन को तैयार किया गया है। यह एप्लीकेशन को पश्चिम रेलवे महाप्रबंधक आलोक कंसल ने उपयोग करने की मंजूरी दे दी है। इसके बाद इस पर कार्य की शुरुआत हो गई है।
इसलिए महत्व है इसका
इस समय रेल मंडल में गोधरा से लेकर नागदा सेक्शन में कम से कम प्रत्येक १० मिनट में दो यात्री ट्रेन का निकलना होता है। ट्रेनों के सुरक्षित संचालन के लिए मंडल का परिचालन विभाग व संकेत व दुरसंचार विभाग के साथ विभिन्न विभाग अपनी अपनी भूमिका निभाते है। इसी के अंतर्गत यह कार्य हुआ है। अब ट्रेनों को बेहतर संचालन के लिए इस नई तकनीक को महत्वपूर्ण माना जा रहा है।
कंट्रोल रूम में लगाई स्क्रीन
रेलवे ने इसके लिए मंडल मुख्यालय के कंट्रोल रूम में एक बड़ी स्क्रीन लगाई है। इसके लिए मंडल को पांच सेक्शन में बांटा है। जिस सेक्शन में सिग्नल में समस्या आएगी, वहां पर सेक्शन अनुसार लाल लाइट जल उठेगी। इसके बाद उस सेक्शन में कार्य तुरंत करके सिग्नल को दूरस्त किया जा सकेगा। इससे ट्रेन दुर्घटना नहीं होगी व परिचालन सुरक्षित हो सकेगा। इससे भविष्य में हाईस्पीड ट्रेन संचालन के कार्य में भी लाभ होगा।
यात्रियों को लाभ होगा
मंडल में रियल टाइम मॉलीटरिंग एप्लीकेशन को बनाया गया है। इससे सिग्नल खराब होने पर पहले से सूचना मिल जाएगी। इससे समय रहते सुधार कार्य किया जा सकेगा। यात्रियों की इससे यात्रा सुरक्षित व निरंतर जारी रहेगी।
- जेके जयंत, जनसंपर्क अधिकारी, रतलाम रेल मंडल
Published on:
16 Mar 2020 12:04 pm
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