
CG News: राज्य के श्रम विभाग के अंतर्गत सहायक श्रम आयुक्त के पदों के विरुद्ध निचले कैडर के अधिकारियों को नियुक्ति के मामले में उच्च न्यायालय द्वारा शासन को अवमानना नोटिस जारी किया है। इसके बावजूद राज्य शासन द्वारा एक बार फिर निचले कैडर के अधिकारी को रायपुर के सहायक श्रम आयुक्त के पद पर प्रभार सौंप दिया गया है।
जानकारी के अनुसार, सहायक श्रम आयुक्तों की पदस्थापना को लेकर चल रहे विवाद ने अब बड़ा रूप ले लिया है। हाईकोर्ट ने श्रम विभाग के सचिव को अवमानना नोटिस जारी किया है। दरअसल विभाग में कुल 7 पद स्वीकृत हैं। इनमें दो मुयालय में और एक-एक पद रायपुर, बिलासपुर, रायगढ़, कोरबा और दुर्ग जिले में है, लेकिन वर्तमान में विभाग के पास केवल 6 सहायक श्रम आयुक्त वर्ग के अधिकारी हैं।
इनमें से 4 को नया रायपुर स्थित श्रम आयुक्त कार्यालय में पदस्थ कर दिया गया है, जबकि यहां सिर्फ 2 पद ही स्वीकृत हैं। शेष अधिकारियों में से एक को दुर्ग और एक को बिलासपुर जिले में जिमेदारी दी गई है। वहीं रायपुर, कोरबा और रायगढ़ जैसे बड़े जिलों में नियमित सहायक श्रम आयुक्त के बजाए श्रम पदाधिकारी वर्ग के अधिकारियों को प्रभार सौंप दिया गया है। यही मनमानी पदस्थापना विवाद की जड़ बनी।
सहायक श्रम आयुक्त अनिल कुमार कुजूर और श्रद्धा केशरवानी ने इस मामले में शासन के खिलाफ उच्च न्यायालय में याचिका दायर की थी। कोर्ट ने उनके पक्ष में फैसला सुनाते हुए कहा था कि याचिकाकर्ता विभाग के समक्ष अभ्यावेदन प्रस्तुत करें और विभाग उस पर 6 माह में निर्णय लें, लेकिन विभाग ने कोई ठोस कार्यवाही नहीं की। इसके चलते याचिकाकर्ताओं ने 6 माह बाद फरवरी में फिर से अवमानना याचिका दायर कर दी।
अब हाईकोर्ट ने मामले को गंभीर मानते हुए श्रम विभाग के सचिव को अवमानना का नोटिस थमा दिया है। इस मामले में विभाग के सचिव हिमशिखर गुप्ता का कहना है कि जो भी मामला है। उसकी फिलहाल जानकारी नहीं है। बाद में पता करके बता सकता हूं।
Published on:
22 Aug 2025 12:44 pm
बड़ी खबरें
View Allरायपुर
छत्तीसगढ़
ट्रेंडिंग
