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कमलनाथ की सभा में धक्का-मुक्की, मंच के पास गिर पड़े पूर्व विधायक

जिस समय कमलनाथ मंच से सभा को संबोधित कर रहे थे, तभी मंच के नीचे अधिक भीड़ होने के कारण पूर्व विधायक रामलखन पटेल मंच के पास गिर पड़े।

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कमलनाथ की सभा में धक्का-मुक्की, मंच के पास गिर पड़े पूर्व विधायक

सतना. मध्य प्रदेश की तीन विधानसभा और एक लोकसभा सीट पर उपचुनाव को लेकर कांग्रेस कांग्रेस लगातार जनसभाएं कर रही है। इसी कड़ी में मंगलवार मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ जनसभा को संबोधित करने रैगांव पहुंचे। जिस समय कमलनाथ मंच से सभा को संबोधित कर रहे थे, तभी मंच के नीचे अधिक भीड़ होने के कारण पूर्व विधायक रामलखन पटेल मंच के पास गिर पड़े।


ये हादसा उस समय हुआ, जब कांग्रेस नेताओं और कार्यकर्ताओं में मंच पर चढ़ने की होड़ मची थी। इसी दौरान पूर्व विधायक धक्का-मुक्की की चपेट में आकर जमीन पर जा गिरे। इस दौरान कार्यकर्ता भी उनपर आ गिरे। घटना मंच के नजदीक अधिक भीड़ इकट्ठा होने के कारण होना बताई जा रही है। मंच के नजदीक तारों से बैरिकेडिंग भी की गई थी, जो भीड़ की धक्का-मुक्की के कारण टूट गई। इसी फैंसिंग में पूर्व विधायक रामलखन पटेल भी फंसकर गिर गए। बाद में पुलिस और कार्यकर्ताओं द्वारा उन्हें जमीन से उठाया गया। बता दें कि, राम लखन पटेल रामपुर बघेलान से दो बार विधायक रह चुके हैं।

पढ़ें ये खास खबर- सभा में कमलनाथ बोले- शिवराज कहते हैं, 1 लाख रोजगार देंगे, मैं पूछता हूं 10 को दिखा दो


कमलनाथ का शिवराज सरकार पर हमला

इस दौरान जनसभा को संबोधित करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने प्रदेश की शिवराज सरकार पर जमकर जुबानी वार किए। कमलनाथ ने कहा कि, कमलनाथ ने कहा 35 साल सिर्फ शिवराज सिंह की घोषणाओं का विकास हुआ है। उप-चुनाव से सरकारें बनती बिगड़ती नहीं। लेकिन, रैगांव की जनता सीधी और भोली है लेकिन बेवकूफ़ नहीं। जवान बिना काम के, व्यापारी बिना व्यापार के थक गया है, तो फिर शिवराज सिंह आप किस काम के।


हमें इस हाल में मिला था मध्य प्रदेश- कमल नाथ

कमल नाथ ने कहा कि, जब हमने शपथ ली थी, तब मध्य प्रदेश महिला अत्याचार, भ्र्ष्टाचार, बेरोजगारी, आत्महत्या में नंबर वन राज्य था। बहुत चुनौतियां थी, ऐसा प्रदेश हमें भाजपा से मिला था। शिवराज कहते हैं, एक लाख को रोजगार देंगे, मैं कहता हूं 10 को दिखा दो। शिवराज में बहुत कलाकारी है। उनकी कलाकारी से प्रदेश थक गया है। मुझसे 15 माह का हिसाब मांगते हैं,मैं तैयार हूं। आइए सामने खड़े होइए।


शिवराज को माफी मांगनी चाहिए- कमल नाथ

अतिथि शिक्षकों की भर्ती निकाली, लेकिन अबतक चुनिंदा को ही सिलेक्ट किया है।। मैंने घोषणा नहीं की, लेकिन 100 रुपये बिजली बिल किया, पेंशन बढ़ाई, विवाह योजना बढ़ाई। मेरा मानना है कि घोषणा करना आसान है, मैं काम करना चाहता था, मुझे मौका नहीं मिला। स्कूल में मास्टर नहीं, अस्पताल में डाक्टर नहीं, फिर भी शिवराज आते हैं, बोलते हैं। शिवराज को तो माफी मांगनी चाहिए।

पढ़ें ये खास खबर- कमलनाथ बोले- 2023 में सरकार बनी तो फिर माफ करेंगे किसानों का कर्ज

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मोदी सरकार पर हमला

पीएम मोदी ने कहा था कि, 20 हजार करोड़ कोरोना से लड़ने के लिए मध्य प्रदेश को दूंगा , सिर्फ सतना में ही साढ़े 5 हजार लोग मर गए। 2014 में किसान की बात नहीं करते, राष्ट्रवाद, पाकिस्तान की बात करने लगे। आपकी पार्टी में एक स्वतंत्रता सेनानी नहीं और आप कांग्रेस को राष्ट्रवाद का पाठ पढ़ाते हैं।


छलका दर्द

ऐसा कोई देश नही जहां इतनी भाषाएं, देवी देवता हैं। ये देश की विविधता है। अंबेडकर ने संविधान ये सोच कर नहीं बनाया था कि, राजनीति में सौदेबाजी आ जाएगी, सरकारें सौदे से बन जाएंगी। मैंने सिर्फ एक गलती की, वो ये कि सौदा नहीं किया, वरना मैं सीएम बना रहता। मैं नहीं चाहता कि, मध्य प्रदेश सौदे की राजनीति का प्रवेश हो। 30 को आप जो बटन दबाएंगे, वो कांग्रेस या कल्पना के नाम का नहीं, बल्कि अपने देश के भविष्य,जोड़ने, भाईचारे की संस्कृति का बटन दबाएंगे।


जब किसान की जेब भरेगी, तभी होगा प्रदेश का विकास

शिवराज सिंह की आंख किसानों की पीड़ा देखने को नहीं चलती, लेकिन उनका मुंह बहुत चलता है। हमारे प्रदेश की व्यवस्था कृषि पर केंद्रित है, प्रगति तभी होगी जब किसान की जेब मे पैसा हो। हमने कर्ज माफ किया 45 हजार का सतना में 27 लाख का प्रदेश में कर्ज माफ किया। हम कृषि क्षेत्र में नई क्रांति लाना चाहते थे, हमने शुरुआत की थी।


पांच राज्यों से घिरा है प्रदेश फिर भी कोई नहीं कर रहा यहां निवेश

बुजुर्गों नौजवानों की दुनिया कुछ और है। नौजवान में हाथों में काम होने की तड़प है। रोजगार मंदिर-मस्जिद जाकर नहीं आएगा, निवेश से आएगा और वो तभी होगा जब प्रदेश पर लोगो को विश्वास होगा। मप्र पांच राज्यों से घिरा है। देश का हृदय है, लेकिन यहां कोई निवेश करने नहीं आता। प्रदेश की पहचान माफिया और मिलावट से नहीं होनी चाहिए, इसलिए हमने शुद्ध का युद्ध शुरू किया था।