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जब पिता की गोद में अदालत पहुंचा तीन साल का गुंडा, मुंह छिपाते नजर आये पुलिसवाले

locationबहराइचPublished: May 30, 2018 11:35:38 am

Submitted by:

Hariom Dwivedi

ठीक से बोलना भी नहीं आता, पुलिस ने मासूम को बना दिया गुंडा…

police files gunda act case

जब अदालत में पहुंचा तीन साल का गुंडा, मुंह छिपाते नजर आये पुलिसवाले

बहराइच. उत्तर प्रदेश की पुलिस का एक नया कारनामा सामने आया है। मामला श्रावस्ती जिले के गिलौला थाना क्षेत्र के कटहा पंचायत का है, जहां तीन साल के मासूम को पुलिस ने अनुसूचित जाति उत्पीड़न का अपराधी बना दिया। यही नहीं डीएम व न्यायालय ने भी तीन साल के इस मुल्जिम को गुंडा एक्ट में कारण बताओ नोटिस जारी कर दिया। मामला यहीं खत्म नहीं हुआ। अनुसूचित जाति उत्पीड़न की जांच करने गए सीओ इकौना ने भी घटना की पुष्टि करते हुए न्यायालय पर चार्जशीट भी दाखिल कर दी है। खुलासा तब हुआ जब मंगलवार को तीन साल का गुंडा पिता की गोद में बैठ कर न्यायालय पहुंचा, जहां ये तीन साल का मासूम चर्चा का विषय बन गया।
गिलौला के कटहा पंचायत के निविहनपुरवा गांव में 14 अक्टूबर 2017 को दो पक्षों में वाद विवाद हो गया था। इस पर गांव की बिटाना देवी ने गांव के ही ननकू व मल्ला (3 वर्ष) पुत्र विद्याराम जायसवाल के पर गाली-गलौज व अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति उत्पीड़न के तहत मामला दर्ज करने की तहरीर दी थी। इस तहरीर की जांच करने के बाद गिलौला पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया।
मामले की जांच तत्कालीन सीओ इकौना ने किया। जांच में भी इस शिकायत की पुष्टि की गई। इस पर सीओ ने मल्ला के विरुद्ध चार्जशीट न्यायालय में भेज दिया। यहीं नहीं सीओ ने मल्ला के अपराध को गंभीरता से लेते हुए एसपी को पत्र लिख कर मल्ला के विरुद्ध गुंडा एक्ट में कार्रवाई करवाने को कहा। एसपी ने भी पांच दिसंबर 2017 को डीएम को मल्ला के अपराधों की सूची भेजते हुए उसके ऊपर गुंडा एक्ट के तहत कार्रवाई करने की मांग की।
तीन साल के बच्चे को कारण बताओ नोटिस
एसपी का पत्र मिलते ही डीएम व न्यायालय ने भी मल्ला पुत्र विद्याराम जायसवाल को गुंडा व अपराधी मानते हुए कारण बताओ नोटिस जारी कर दिया। इस नोटिस के तहत उसे छह जून को डीएम के सामने प्रस्तुत होना है। वहीं चार्जशीट के बाद न्यायालय से गई नोटिस पाने के बाद मल्ला जिसकी उम्र मात्र तीन वर्ष है। वह अपने पिता विद्याराम की गोद में बैठकर न्यायालय में हाजिर हुआ। न्यायालय में हाजिर होते ही उसकी उम्र और अपराध चर्चा का विषय बना रहा, जो मल्ला अभी तक ठीक से बोलना भी नहीं सीख पाया, वह किसी का उत्पीड़क व गुंडा कैसे हो सकता है। इसी के बाद न्यायालय ने 11 जून की तारीख नीयत कर फिर से तलब किया है।
पुलिस अधीक्षक का बयान
मामले में पुलिस अधीक्षक श्रावस्ती अशोक कुमार बताते हैं कि जिसे मल्ला बताकर दिखाया जा रहा है, वह उसके बड़े भाई का नाम है। अपराध से बचने के लिए अपने तीसरे लड़के को मल्ला बता कर सामने लाये हैं। इसमे कई ग्रामीणों के बयान भी दर्ज हैं। इसके बावजूद भी यदि कोई त्रुटि सामने आती है तो संसोधन करके न्यायालय को चार्जशीट भेजी जाएगी।
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