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कलेक्टर शिल्पा गुप्ता ने बच्चों को बताया कि वह आइएएस ऑफिसर से पहले वह एक टीचर बनना चाहतीं थीं, इसी के चलते उन्होंने ग्रेजुएशन के बाद बीएड किया। टीचर बनीं और उसी साल आइएएस में उनका सिलेक्शन हो गया तो उन्होंने टीचर की जॉब छोड़ दी। उन्होंने बच्चों को बताया कि जब वह छोटी थीं तो उन्होंने एक बार अपने स्कूल की टीचर्स को अपनी मर्जी से पैसे खर्च करते देखा । यह भी पढ़ें
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वहीं दूसरी ओर उनकी मां को हर खर्च के लिए पापा पर निर्भर रहना पड़ता था। बकौल कलेक्टर उसी समय उन्होंने तय कर लिया था कि शादी के बाद घर में चौका चूल्हा करने की बजाय कुछ बनेंगी। उन्होंने छात्राओं के पूछने पर उन्हें यह भी बताया कि वे आइएएस कैसे बन सकती हैं । यह भी पढ़ें
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इस दौरान बीआरसीसी अंगद सिंह तोमर, मावि के एचएम सिविल राम भगत तथा प्रावि के एचएम वत्सराज राठौड़ सहित स्कूल का स्टाफ उपस्थित था । यह भी पढ़ें
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मैडम! चावल कच्चे व सब्जी में आते हैं कीड़े
कलेक्टर ने जब मावि की छात्राओं से एमडीएम की जानकारी चाही तो छात्राओं ने कहा कि एमडीएम में उन्हें पतली-पतली रोटियां दी जाती हैं, कभी चावल कच्चे आते हैं तो कभी सब्जी में कीड़े आ जाते हैं। इस पर कलेक्टर ने समूह संचालक से बात की तथा उसे तल्ख लहजे में समझाइश देकर कहा कि सप्ताहभर में यदि एमडीएम की स्थिति नहीं सुधरी तो वह उसके समूह को हटा देंगी। उन्होंने स्कूल के जिम्मेदार लोगों को भी इस संबंध में ध्यान रखने की बात कही ।
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माता-पिता के बाद गुरू ही ईश्वर है जिला पंचायत सीईओ राजेश जैन मिल बांचें कार्यक्रम के तहत आदर्श नगर मावि में पहुंचे। उन्होंने वहां बच्चों को बताया कि पृथ्वी पर माता-पिता के बाद यदि कोई ईश्वर है तो वह सिर्फ गुरू है। इसलिए हर बच्चे को अपने गुरू का सम्मान करते हुए उससे जितना सीखने को मिले सीखना चाहिए, गुरू से मिला ज्ञान ही जीवन में सफलता की सीढ़ी तक ले जाता है। उन्होंने बच्चों के लिए खेल किट तथा लाइब्रेरी सेंशन की। गिफ्ट अ बुक के तहत उन्होंने पूर्व राष्ट्रपति अब्दुल कलाम आजाद की किताबें स्कूल लाइब्रेरी के लिए गिफ्ट कीं । यह भी पढ़ें
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मैं मदद कर दूंगी, पर इससे जीवन नहीं कटेगा कन्या मावि की कक्षा ८ की छात्रा चाइना परिहार व उसकी बहन आशा परिहार ने कलेक्टर को बताया कि उनके मम्मी-पापा का देहांत हो गया है। वह बड़े भाई के साथ रहती हैं और इस समय काफी परेशान हैं। छात्राओं ने पांच हजार रुपए की मदद की मांग की। इस पर कलेक्टर ने छात्राओं से कहा कि मैं आपकी मदद तो कर दूंगी लेकिन आप हिम्मत मत हारना, पढ़ाई मत छोडऩा और जीवन में पढ़ लिख कर कुछ बनना जरूर । यह भी पढ़ें