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विवरण : राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (नीट) उन विद्यार्थियों के लिए वह परीक्षा जिसके तहत वे सरकारी या निजी मेडिकल कॉलेजों में स्नातक मेडिकल/डेंटल या स्नातकोत्तर (एमडी/एमएस) कोर्स कर सकते हैं। सन् २०१३ में नीट ने ऑल इंडिया प्री मेडिकल टेस्ट (एआईपीएमटी) का स्थान लिया जिसका आयोजन राज्य या मेडिकल कॉलेज करवाया करते थे। हालांकि, कई कॉलेजों और संस्थानों ने नीट पर स्टे ले लिया था और खुद के एमबीबीएस एवं बीडीएस (दंत चिकित्सक) कोर्स के लिए परीक्षा का आयोजन करवाया। पिछले नीट का आयोजन 2017 में 7 मई को किया गया था और परिणाम 23 मई को घोषित किया गया। नीट का आयोजन केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) द्वारा किया जाता है। नीट का आयोजन सन् 2012 में किया जाना था, लेकिन सीबीएसई और मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया (एमसीआई) ने किसी कारणवश इसे एक साल के लिए टाल दिया। केंद्र सरकार ने नीट की घोषणा की और देशभर में पहली बार इस परीक्षा का आयोजन 5 मई, 2013 को किया गया। 18 जुलाई, 2013 को सुप्रीम कोर्ट ने 115 याचिकाओं के समर्थन में फैसला सुनाते हुए नीट को रद्द कर दिया और कहा कि एमसीआई कॉलेजों द्वारा किए जाने वाली प्रवेश प्रक्रिया में हस्तक्षेप नहीं कर सकता। सुप्रीम कोर्ट ने 2013 में नीट को अवैध और असंवैधानिक घोषित कर दिया था। हालांकि, कोर्ट की पांच जजों की संवैधानिक खंडपीठ ने पिछला फैसला वापस लेते हुए 11 अप्रेल, 2016 को नीट व्यवस्था को वापस लागू करते हुए केंद्र सरकार और एमसीआई को कॉमन प्रवेश परीक्षा लागू करने के लिए कहा। कोर्ट ने कहा कि यह व्यवस्था तब तक जारी रहेगी जबतक कोर्ट इसकी वैधता पर फिर से कोई फैसला नहीं ले लेता।