7 दिसंबर 2025,

रविवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद पाकिस्तान की 1070 किमी सीमा पर अलर्ट; राजस्थान के 4 जिलों पर सबसे बड़ा खतरा

Operation Sindoor के बाद यहां हम ग्राफिक्स जरिए बता रहे हैं कि किस तरह से राजस्थान के 4 जिले जो सीधे पाकिस्तान के खतरे की जद में आते हैं। इन जिलों में सुरक्षा के साथ ही खुफिया तंत्र को भी मजबूत किया गया है।

4 min read
Google source verification
Web border Map Rajasthan

पाकिस्तान की सीमाओं पर निगरानी करता भारतीय जवान।

Rajasthan Border: श्रीगंगानगर । भारतीय वायुसेना द्वारा पाकिस्तान के बहावलपुर इलाके में की गई एयर स्ट्राइक के बाद देशभर में सुरक्षा एजेंसियां सतर्क हो गई हैं। इस हमले के बाद सबसे ज्यादा असर राजस्थान में देखा जा रहा है, जहां पाकिस्तान सीमा से सटे जिले हाई अलर्ट पर हैं। इंडियन एयरफोर्स और आर्मी की सक्रियता अचानक कई गुना बढ़ गई है।

पाकिस्तान का बहावलपुर, जहां एयर स्ट्राइक की गई यह इलाका राजस्थान की सीमा से मात्र 100 किलोमीटर की दूरी पर है। यही कारण है कि श्रीगंगानगर, बीकानेर, जैसलमेर और बाड़मेर जैसे पाकिस्तान की सीमा से सटे जिलों में सुरक्षा पहरे को और भी कड़ा कर दिया गया है।

यहां हम ग्राफिक्स जरिए बता रहे हैं कि किस तरह से राजस्थान के 4 जिले जो सीधे खतरे की जद में आते हैं। इन जिलों में सुरक्षा के साथ ही खुफिया तंत्र को भी मजबूत किया गया है।

श्रीगंगानगर-

श्रीगंगानगर जिले की सीमाएं पाकिस्तान के बॉर्डर पर लगभग 210 किलोमीटर की सीमा बनाती हैं। इन इलाकों में ज्यादातर खेत हैं, जहां से हमेशा घुसपैठ की आशंका बनी रहती है।

बीकानेर-

जैसलमेर-

जैसलमेर पाकिस्तान के साथ सबसे लंबी सीमा साझा करते है। इसके क्षेत्र में पाकिस्तान के साथ 464 किमी लंबी सीमा बनती है।

बाड़मेर-

बाड़मेर जिला भी सुरक्षा के लिहाज से काफी अहम है, यह जिला पाकिस्तान के साथ 228 किमी की सीमा बनाता है।

गांव स्तर पर इन्फार्मर तैनात

जोधपुर एयरबेस से सभी कमर्शियल फ्लाइट्स अस्थायी रूप से रोकी गईं। बीकानेर के नाल एयरपोर्ट पर भी यात्रियों को अगले आदेश तक इंतजार की सलाह दी गई है। RAW, IB और मिलिट्री इंटेलिजेंस सक्रिय है। RAW, IB और मिलिट्री इंटेलिजेंस की टीमों को बॉर्डर पर सक्रिय कर दिया गया है। सीमावर्ती गांवों में संदिग्ध गतिविधियों पर नजर रखी जा रही है। ड्रोन और रेडियो सिग्नल मॉनिटरिंग की गतिविधियां बढ़ाई गई हैं। स्थानीय पुलिस और गांव स्तर पर "इन्फॉर्मर नेटवर्क" को एक्टिव किया गया है।

अगर युद्ध या एयरस्ट्राइक होती है तो संभावित खतरे

1- एयर स्ट्राइक
जैसलमेर और बाड़मेर के एयरबेस सबसे पहले निशाने पर आ सकते हैं.

2 - आतंकी घुसपैठ
रेगिस्तान के खुले क्षेत्रों में बॉर्डर (fence) के बावजूद घुसपैठ की संभावना बनी रहती है.

3 - ड्रोन और मिसाइल अटैक
हाल ही में पंजाब और राजस्थान सीमा पर पाकिस्तान से आए ड्रोन के जरिए हथियार भेजने की घटनाएं सामने आईं हैं.

4 - साइबर या रेडियो जामिंग
संवेदनशील बॉर्डर इलाकों में पाकिस्तानी खुफिया एजेंसियां संचार प्रणाली को बाधित कर सकती हैं.

एयर स्ट्राइक के तुरंत बाद राजस्थान का बॉर्डर क्षेत्र सुरक्षा का प्रमुख फोकस बन गया है। केंद्र और राज्य सरकार दोनों इस परिस्थिति पर बारीकी से नजर बनाए हुए हैं।

राजस्थान में एयरबेस पर निगाहें

बहावलपुर जैसे पाकिस्तानी सैन्य ठिकाने राजस्थान सीमा से बेहद पास हैं। रेगिस्तानी इलाकों में घुसपैठ और एयर मूवमेंट पकड़ना मुश्किल होता है। सेना के एयरबेस और कमांड सेंटर भी यहीं स्थित हैं – जैसलमेर, जोधपुर, फलोदी, नाल (बीकानेर)। 1971 की जंग और हालिया बालाकोट सर्जिकल स्ट्राइक के बाद भी यही जिले प्रमुख टारगेट बने थे।

एयर स्पेस अलर्ट पर, उड़ानें रद्द

एयर स्ट्राइक के बाद सुरक्षा कारणों की वजह से जोधपुर और बीकानेर एयरपोर्ट से उड़ानें अस्थाई रूप से रद्द कर दी गई हैं।
सूत्रों के अनुसार, एयरफोर्स के निर्देश पर यह कदम उठाया गया ताकि यदि पाकिस्तान की ओर से जवाबी कार्रवाई होती है, तो सेना को एयरस्पेस का पूरी तरह नियंत्रण मिले।

यह भी पढ़ें : ऑपरेशन सिंदूर के बाद राजस्थान में आज फिर गरजेंगे लड़ाकू विमान, जारी हुआ NOTAM

#OperationSindoorमें अब तक